
तुम भी कभी बहुत बोलते थे….
बातों का सिलसिला अब वैसा नहीं चलता, लम्बी फेहरिस्त होती थी बातों की, मैं पहले तो मैं पहले की तकरार, अब रुक रुक कर कभी कभार मैं कुछ पूछता, और …
तुम भी कभी बहुत बोलते थे…. Read MoreThe Life Writer & Insane Poet
बातों का सिलसिला अब वैसा नहीं चलता, लम्बी फेहरिस्त होती थी बातों की, मैं पहले तो मैं पहले की तकरार, अब रुक रुक कर कभी कभार मैं कुछ पूछता, और …
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