बाट जोहे सर्द में ठिठुरते है सूने चौपाल ..
आज शाम का अलाव कुछ सुना सा था , न पहले के तरह घेर के उसे बैठा था कोई .. न ही कोई छिरी चर्चा उस अलाव के इर्द गिर्द, …
बाट जोहे सर्द में ठिठुरते है सूने चौपाल .. Read MoreThe Life Writer & Insane Poet
आज शाम का अलाव कुछ सुना सा था , न पहले के तरह घेर के उसे बैठा था कोई .. न ही कोई छिरी चर्चा उस अलाव के इर्द गिर्द, …
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