जीवन बोध ….
वो अनाम है, अनुत्तरित प्रश्न है, बस संवाद का एक शक्ल था, अतीत में मिला उसे.. निस्तब्धता के अनेकों प्रयास ने, उपेक्षित किया है उसे बार बार, प्रतिध्वनि उठती है …
जीवन बोध …. Read MoreThe Life Writer & Insane Poet
वो अनाम है, अनुत्तरित प्रश्न है, बस संवाद का एक शक्ल था, अतीत में मिला उसे.. निस्तब्धता के अनेकों प्रयास ने, उपेक्षित किया है उसे बार बार, प्रतिध्वनि उठती है …
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क्या आसां है उन चिड़ियों को कह देना, उस बरामदे तुम ना चहचहाना अब; अब अजनबी सा वो मकान हो गया है; सुबह को भी बनाना मुश्किल ही है, चेहरों …
Insane Life … Read More