मैं ये सोच कर ये उसके दर से उठा था .. (भूले बिसरे गीत)
“हकीकत” फिल्म से भूले बिसरे गीत में रफ़ी साहब .. मैं ये सोच कर ये उसके दर से उठा था ; की वो रोक लेगी मना लेगी मुझको ; हवाओं …
मैं ये सोच कर ये उसके दर से उठा था .. (भूले बिसरे गीत) Read MoreThe Life Writer & Insane Poet
“हकीकत” फिल्म से भूले बिसरे गीत में रफ़ी साहब .. मैं ये सोच कर ये उसके दर से उठा था ; की वो रोक लेगी मना लेगी मुझको ; हवाओं …
मैं ये सोच कर ये उसके दर से उठा था .. (भूले बिसरे गीत) Read MoreYour little face ; Like a flower in the morning ; You might recognize me from afar ; When I see you, as hiding your head in the lap of …
Your Little Face …. Poem for Little One !! Read Moreफिर देर से .. दिन ही नहीं रात गुमशुदा सा लगता है ; ये जिंदगी की कैसी किश्तें अदा कर रहे ; वो जो मायूस सा सहयात्री है अजनबी ही …
फिर देर से ..Late again when I get home !! Read Moreदुआ लब्जों में समेटे, दिल में कई जस्बात है ! ना रूबरू हो सके कभी, इस सफर में ना कोई पास है ! कुछ शर्त ना थी साथ आने की, …
इस बरस की क्या क्या सौगात है … Memories never die ! Read Moreगिरह ऐसी भी नहीं थी की टूट जाती, हाँ कुछ बन्धन जो वक्त, मायूसी, खामोशी के थे ..सब आजाद है अब ! मैं इस इल्जाम का इतना भी हक़दार नहीं …
गिरह – Knot of Life : #Night & #Pen ! Read Moreकिसी ख़ामोशी को लौटते देखा है ; वैसे ही लिबास में ; पुराने लिबास में । हाँ सजे संवरे .. बिना किसी आहट के ; फिर नजरों के सामने पुनः …
ख़ामोशी को लौटते देखा … Quietness Returns Read More